Crowdfunding

"Relief for Koshi Flood Victims – Your Small Contribution Can Save Millions"

Dear Friends, Due to the rising waters of the Koshi River and continuous heavy rainfall, over 100,000 people have been completely displaced. Their homes, fields, and everything they owned are submerged in water. Today, these families lack even two meals a day and a safe place to live. We urge you to extend a helping hand, even if small, and stand with us in this disaster. Your contribution, however small, can bring hope and relief to these families in their time of urgent need. We urge you to extend a helping hand, even if small, and stand with us in this disaster. Your contribution not only brings relief to those in need, but it also qualifies for Income Tax exemption under Section 80G, as our trust is registered for tax benefits. Your donation will help us: Provide nutritious meals twice a day to flood-affected families Offer temporary shelters and safe spaces for the displaced Distribute essential clothing and supplies for children and the needy Ways to Donate: Bank Transfer / UPI: Account Name: Santhi Gramin Vikas Trust Samiti Account Number: 42978829342 IFSC / UPI ID: SBIN0003007 Cash or Other Methods: Contact our local office: Contact: Shri Ram Sudihar, +91 77818 98636 Your small contribution can save homes, feed hungry children, and bring hope to thousands in need.

नारी शक्ति आजीविका केंद्र

 नारी शक्ति आजीविका केंद्र (शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति द्वारा संचालित – महिलाओं के आत्मनिर्भरता की ओर एक सशक्त कदम) 🔷 हमारी सोच: नारी शक्ति आजीविका केंद्र का उद्देश्य है ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों की महिलाओं को आजीविका, सम्मान और आत्मनिर्भरता की राह पर अग्रसर करना। हम महिलाओं को आर्थिक, सामाजिक और स्वास्थ्य संबंधी सहायता देकर उनके जीवन को बेहतर बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। ✅ कैसे जुड़ें? 👉 Step 1: वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन आवेदन करें या नजदीकी NSK केंद्र में फॉर्म भरें। 👉 Step 2: ₹1500 की एक बार की आजीवन सदस्यता राशि का भुगतान करें। 👉 Step 3: 3 वर्षों तक सक्रिय सदस्य रहें, प्रशिक्षण लें, समूह से जुड़ें और योजनाओं का लाभ प्राप्त करें। 📍 सदस्यता के लिए आवश्यक दस्तावेज: आधार कार्ड पासपोर्ट साइज फोटो बैंक खाता विवरण 🎁 सदस्यों को मिलने वाले विशेष लाभ: 🌟 लाभ    विवरण 1. आजीवन सदस्यता कार्ड    एक बार ₹1500 शुल्क देकर पंजीकरण के बाद सदस्य को आजीवन पहचान पत्र व योजनाओं में प्राथमिकता दी जाती है। 2. क्राउड फंडिंग सहायता    सदस्यता के 3 वर्ष पूर्ण होने पर जरूरत के समय ₹1000 से ₹1 करोड़ तक की सहायता क्राउड फंडिंग के माध्यम से उपलब्ध कराई जाती है। 3. मातृत्व सहायता योजना    गर्भवती महिलाओं को प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के अंतर्गत ₹25,000 से ₹50,000 तक की सहायता। 4. स्वरोजगार हेतु अनुदान    स्वयं का व्यवसाय शुरू करने के लिए ₹1.25 लाख तक की आर्थिक सहायता या उपकरण उपलब्ध कराए जाते हैं। 5. मेडिकल इमरजेंसी में सहायता    बीमारी, दुर्घटना या आपदा की स्थिति में ₹1000 से ₹100 करोड़ तक की राशि जनसहयोग (crowd fund) से उपलब्ध कराई जाती है। 🧵 प्रशिक्षण और आजीविका विकल्प: सिलाई / कढ़ाई प्रशिक्षण ब्यूटी पार्लर संचालन बकरी, गाय, मुर्गी पालन सजावटी वस्तु निर्माण पेपर बैग / सैनिटरी पैड निर्माण डिजिटल साक्षरता प्रशिक्षण > प्रशिक्षण के बाद प्रमाण-पत्र व उद्यम आरंभ हेतु सहयोग भी दिया जाता है। 📞 संपर्क करें: श्री राम सूतिहार अध्यक्ष – शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति 📱 मोबाइल: +91-7781 8986 36 🌐 वेबसाइट: www.sgraminvts.org ✉️ ईमेल: sgvts.bihar@gmail.com 🔷 नारी शक्ति आजीविका केंद्र – महिलाएं अब लेंगी भविष्य की कमान। > 🌱 अब हर महिला बन सकती है आत्मनिर्भर – बस एक कदम नारी शक्ति केंद्र की ओर।  

ग्रामीण महिलाओं के लिए सामूहिक स्वरोजगार सदस्यता

लखपति दीदी योजना: ग्रामीण महिलाओं के लिए सामूहिक स्वरोजगार सदस्यता नियमावली परिचय: लखपति दीदी योजना का उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं को संगठित कर आर्थिक रूप से सशक्त बनाना है। यह योजना शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति द्वारा संचालित बिहार समृद्धि संगम परियोजना के अंतर्गत चलाई जा रही है। योजना के तहत महिलाओं को सदस्यता प्रदान कर उन्हें एक सामूहिक आर्थिक सहयोग मंच से जोड़ा जाता है, जिससे वे स्वरोजगार एवं आत्मनिर्भरता की दिशा में आगे बढ़ सकें। सदस्यता नियमावली 1. सदस्यता प्राप्त करने की प्रक्रिया: 1. प्रत्येक इच्छुक महिला को ₹1500 का सदस्यता शुल्क जमा करना होगा। 2. सदस्यता शुल्क जमा करने के बाद, प्रत्येक सदस्य को एक योगदान खाता प्राप्त होगा। 3. प्रत्येक सदस्य को अपने नीचे 21 अन्य सदस्यों का एक समूह बनाना होगा, जो इसी प्रक्रिया का पालन करेंगे। 2. आर्थिक अनुदान एवं लाभ: (क) पारिवारिक जन सहयोग योजना 3 वर्ष पुराने सदस्यों को ₹1.25 लाख तक का आर्थिक अनुदान स्वरोजगार एवं आत्मनिर्भरता के लिए दिया जाएगा। (ख) विवाह सहायता योजना योजना के अंतर्गत बच्चियों की शादी के लिए बेसिक अनुदान प्रदान किया जाएगा। (ग) शिक्षा अनुदान योजना बच्चों की उच्च शिक्षा के लिए क्राउड फंडिंग अनुदान उपलब्ध कराया जाएगा। (घ) मेडिकल इमरजेंसी क्राउड फंडिंग किसी भी गंभीर चिकित्सा आपातकाल में ₹1000 से ₹1 करोड़ तक की क्राउड फंडिंग सहायता प्रदान की जाएगी। 3. सामूहिक सदस्यता एवं नेटवर्किंग प्रक्रिया: 1. प्रत्येक सदस्य को न्यूनतम 21 नए सदस्यों को जोड़ना अनिवार्य होगा। 2. सभी सदस्यों को अपने योगदान खाते में मासिक या वार्षिक रूप से आर्थिक सहयोग देना होगा। 3. सभी नए सदस्यों को योजना की शर्तों को समझकर ही जुड़ना होगा। 4. स्वरोजगार एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम: योजना के तहत महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने हेतु विभिन्न कौशल प्रशिक्षण दिए जाएंगे, जिनमें शामिल हैं: बकरी पालन, गाय पालन, मुर्गी पालन पेपर बैग निर्माण, सजावटी फूल निर्माण सिलाई एवं कढ़ाई कार्य, ब्यूटी पार्लर प्रशिक्षण सैनिटरी पैड निर्माण, गृह उद्योग कार्यक्रम 5. वित्तीय पारदर्शिता एवं निगरानी: 1. सभी आर्थिक लेनदेन को डिजिटल माध्यम से किया जाएगा। 2. प्रत्येक सदस्य को उसकी अंशदान की पूरी जानकारी दी जाएगी। 3. योजना से जुड़े सभी फंड का ऑडिट एवं निगरानी एक समिति द्वारा की जाएगी। निष्कर्ष: लखपति दीदी योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं को संगठित कर सामूहिक आर्थिक सहयोग एवं स्वरोजगार के अवसर उपलब्ध कराना है। इस योजना से न केवल महिलाओं को आत्मनिर्भरता मिलेगी, बल्कि उनका सामाजिक एवं आर्थिक सशक्तिकरण भी होगा। "एकजुटता में शक्ति है – मिलकर आगे बढ़ें, आत्मनिर्भर बनें!"

नारी शक्ति केंद्र के अंतर्गत आजीविका विशेष सर्वेक्षण अभियान

नारी शक्ति केंद्र के अंतर्गत आजीविका विशेष सर्वेक्षण अभियान ग्रामीण और पंचायत स्तर पर महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने और उनके अधिकारों के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से चलाया जा सकता है। इस अभियान की योजना और कार्यान्वयन निम्नलिखित चरणों में किया जा सकता है: 1. अभियान का उद्देश्य ग्रामीण और पंचायत स्तर पर महिलाओं के आर्थिक, सामाजिक और शैक्षिक सशक्तिकरण को बढ़ावा देना। महिलाओं के लिए रोजगार और स्वरोजगार के अवसरों की पहचान। आजीविका और कौशल विकास से संबंधित आवश्यकताओं का विश्लेषण। 2. सर्वेक्षण की रणनीति (क) सर्वेक्षण टीम का गठन: ग्रामीण महिला मित्रा और मानव अधिकार संरक्षण सखी को इस कार्य में सम्मिलित करें। प्रत्येक पंचायत में सर्वेक्षण टीम का गठन। (ख) डेटा संग्रह के क्षेत्र: महिलाओं की वर्तमान स्थिति: शिक्षा स्तर। आजीविका के मौजूदा साधन। स्वरोजगार में रुचि। आर्थिक स्थिति: वार्षिक आय। बैंक खाता और बचत योजना की जानकारी। सरकारी योजनाओं का लाभ: महिलाओं को लाभान्वित योजनाएं। आगे की जरूरतें। 3. सर्वेक्षण की प्रक्रिया प्रारंभिक बैठकें: गांवों और पंचायत स्तर पर जागरूकता बैठकों का आयोजन। सर्वेक्षण उपकरण: प्रश्नावली और डिजिटल प्लेटफार्म का उपयोग। डोर-टू-डोर सर्वेक्षण: घर-घर जाकर जानकारी एकत्र करना। 4. सर्वेक्षण परिणामों का विश्लेषण महिलाओं की आवश्यकताओं को प्राथमिकता देना। कौशल प्रशिक्षण कार्यक्रम और स्वरोजगार योजनाओं की रूपरेखा तैयार करना। 5. विशेष योजनाओं का संचालन स्वरोजगार के लिए प्रशिक्षण: गृह उद्योग (जैसे सिलाई, बुनाई, कढ़ाई, मशरूम उत्पादन)। डिजिटल कौशल और कंप्यूटर प्रशिक्षण। आर्थिक सहायता: लघु बचत योजना और महिलाओं को सहकारी समूहों से जोड़ना। 6. संपर्क और प्रचार पंचायत भवन और सामुदायिक केंद्रों पर शिविर आयोजित करना। स्थानीय स्वयंसेवकों और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की मदद। 7. फॉलो-अप और निगरानी नियमित रूप से पंचायत स्तर पर बैठकों का आयोजन। महिलाओं के लिए रोजगार सृजन योजनाओं की सफलता का मूल्यांकन। आपके संगठन द्वारा इसे प्रभावी रूप से लागू करने के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम और उचित मानिटरिंग सिस्टम विकसित करना उपयोगी होगा।

नारी शक्ति केंद्र

नारी शक्ति केंद्र का उद्देश्य शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति द्वारा संचालित नारी शक्ति केंद्र महिलाओं को सशक्त और आत्मनिर्भर बनाने के लिए एक समग्र मंच प्रदान करता है। यह केंद्र महिलाओं को आर्थिक, सामाजिक, शैक्षिक और स्वास्थ्य संबंधी सशक्तिकरण के अवसर उपलब्ध कराकर उनके जीवन को सकारात्मक रूप से बदलने के लिए प्रतिबद्ध है। महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए योजनाएं 1. कौशल विकास एवं स्वरोजगार प्रशिक्षण योजना: महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए विभिन्न व्यावसायिक और तकनीकी प्रशिक्षण दिए जाएंगे, जैसे: सिलाई-कढ़ाई और बुनाई प्रशिक्षण। ब्यूटी पार्लर और मेकअप आर्टिस्ट कोर्स। कंप्यूटर और डिजिटल मार्केटिंग का प्रशिक्षण। हस्तशिल्प और घरेलू उद्योगों (जैसे अगरबत्ती, मोमबत्ती, और अचार निर्माण) का प्रशिक्षण। ऑर्गेनिक खेती और पशुपालन। 2. गृह उद्योग प्रोत्साहन योजना: महिलाओं को लघु और कुटीर उद्योग शुरू करने के लिए प्रेरित करना। उन्हें सूक्ष्म वित्त (Microfinance) और बैंक लोन की सहायता दिलाना। तैयार उत्पादों के विपणन (Marketing) और बिक्री में सहयोग। 3. समूह आधारित स्वरोजगार योजना (Self-Help Groups - SHG): स्वयं सहायता समूह (SHG) के माध्यम से महिलाओं को एकजुट कर उनके लिए छोटे व्यवसाय शुरू करना। समूहों को वित्तीय सहायता और प्रशिक्षण प्रदान करना। समूह आधारित व्यवसाय जैसे डेयरी, सब्जी उत्पादन, और सिलाई इकाइयों को प्रोत्साहित करना। 4. डिजिटल सशक्तिकरण योजना: महिलाओं को डिजिटल उपकरणों जैसे कंप्यूटर, मोबाइल, और इंटरनेट का उपयोग करना सिखाना। ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के माध्यम से उत्पाद बेचने और डिजिटल बैंकिंग का प्रशिक्षण। 5. महिला उद्यमिता विकास योजना: इच्छुक महिलाओं को उद्यमिता (Entrepreneurship) में प्रशिक्षित करना। महिलाओं को उनके व्यवसाय के लिए योजनाएं तैयार करने और सरकारी सहायता प्राप्त करने में मार्गदर्शन देना। 6. बेटियां शगुन योजना: बेटियों की शिक्षा और विवाह के लिए आर्थिक सहायता। बालिका शिक्षा को प्रोत्साहन और उनके उज्जवल भविष्य की योजना। 7. आर्थिक सुरक्षा और बचत योजना: लघु बचत योजना (Laghu Bachat Yojana): महिलाओं को नियमित बचत के लिए प्रोत्साहित करना। सामूहिक निधि योजना: समूह के माध्यम से वित्तीय मदद। पेंशन और वृद्ध सम्मान योजना: वृद्ध महिलाओं को आर्थिक सुरक्षा। उद्देश्य आधारित योजना का प्रभाव: 1. महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाकर उनकी आय में वृद्धि। 2. रोजगार और स्वरोजगार के नए अवसरों का निर्माण। 3. महिलाओं में आत्मविश्वास और नेतृत्व क्षमता का विकास। 4. परिवार और समाज में महिलाओं की स्थिति में सुधार। निष्कर्ष: शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति का नारी शक्ति केंद्र महिलाओं को उनके पैरों पर खड़ा करने और उन्हें एक सशक्त पहचान देने के लिए प्रतिबद्ध है। यह योजनाएं न केवल उनके आर्थिक विकास में सहायक होंगी, बल्कि उन्हें सामाजिक और मानसिक रूप से भी सशक्त बनाएंगी।

Aajeevika Counselling 2024-25

केंद्रीय आजीविका काउंसलिंग 2024-25 का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को आत्मनिर्भर बनाने और उनके कौशल को विकसित कर उनके जीवनस्तर को ऊंचा उठाना है। यह कार्यक्रम विशेष रूप से युवाओं, महिलाओं और कमजोर वर्गों के लिए डिज़ाइन किया गया है। कार्यक्रम के मुख्य बिंदु: 1. कौशल प्रशिक्षण विभिन्न क्षेत्रों में प्रशिक्षण जैसे भूमि सर्वेक्षण, गृह उद्योग, पशुपालन, कंप्यूटर प्रशिक्षण, और स्वरोज़गार। प्रशिक्षण कार्यक्रम 90 दिनों और 180 दिनों की अवधि के साथ उपलब्ध हैं। 2. आजीविका योजनाएं गृह उद्योग योजना बेटियां शगुन योजना पशु सम्मान निधि योजना लघु बचत योजना वृद्ध सम्मान निधि योजना 3. लाभार्थी कैसे बनें: योजनाओं का लाभ उठाने के लिए ₹1500 का आजीवन सदस्यता शुल्क। सदस्यता के तीन वर्ष बाद किसी भी योजना का लाभ उठाया जा सकता है। 4. पार्टनरशिप अवसर यदि आप अपना प्रशिक्षण केंद्र खोलना चाहते हैं, तो आप ₹25000 के पंजीकरण शुल्क के साथ संगठन से जुड़ सकते हैं। 5. काउंसलिंग सेवाएं बेरोज़गार युवाओं और महिलाओं को उनके लिए उपयुक्त योजनाओं और प्रशिक्षण कार्यक्रमों के बारे में परामर्श। स्वरोज़गार और सरकारी योजनाओं से जुड़ने का मार्गदर्शन। महत्वपूर्ण तिथियां: आवेदन प्रक्रिया: जल्द ही आरंभ होगी। अधिक जानकारी के लिए sgvts.co.in और sgvns.org पर संपर्क करें। संपर्क करें: शांति ग्रामीण विकास ट्रस्ट समिति Sirsiya Kamargama, Madhepura District, Bihar – 852128 इस कार्यक्रम का लक्ष्य समाज के प्रत्येक वर्ग को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना और आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ाना है।